Ehsas : A Romantic Poem in Hindi
बसाकर मेने नयनों में
तुमने अपनी मनमोहिनी मूरत
सच में मेरी तो,
जिन्दगी ही बदल दी है।
हर दिन त्यौहार सा,
हर रात उत्सव सी
जीवन में जैसे कि
बहारें ही बहारें हों।
स्वप्न से भी हसीन
लगता है प्रत्येक क्षण
एक तुम्हें पाकर
मैंने हर खुशी पा ली है।
एक पल को भी कभी
दिल में मत उड़ जाना तुम
यकीन हो गया है
मेरी जिन्दगी तुम्हीं हो।
ये तो मेरे दिल की है
तुम भी कुछ अपनी कहो
मेरी इन भावनाओं को
तुम्हें एहसास भी है या नहीं?
तुमने अपनी मनमोहिनी मूरत
सच में मेरी तो,
जिन्दगी ही बदल दी है।
हर दिन त्यौहार सा,
हर रात उत्सव सी
जीवन में जैसे कि
बहारें ही बहारें हों।
स्वप्न से भी हसीन
लगता है प्रत्येक क्षण
एक तुम्हें पाकर
मैंने हर खुशी पा ली है।
एक पल को भी कभी
दिल में मत उड़ जाना तुम
यकीन हो गया है
मेरी जिन्दगी तुम्हीं हो।
ये तो मेरे दिल की है
तुम भी कुछ अपनी कहो
मेरी इन भावनाओं को
तुम्हें एहसास भी है या नहीं?
बहुत सुन्दर एहसास हैं इस कविता के
जवाब देंहटाएंवाह क्या बात है ! आपका ये अंदाज भी पसंद आया.
जवाब देंहटाएंमेरी जिन्दगी तुम्हीं हो।
जवाब देंहटाएंये तो मेरे दिल की है
तुम भी कुछ अपनी कहो
मेरी इन भावनाओं को
तुम्हें एहसास भी है या नहीं?
"बहुत खुबसूरत रचना , बेहतरीन भावपूर्ण रचना के लिए बधाई स्वीकार करें...."
regards
मेरी जिन्दगी तुम्हीं हो।
जवाब देंहटाएंये तो मेरे दिल की है
तुम भी कुछ अपनी कहो
मेरी इन भावनाओं को
तुम्हें एहसास भी है या नहीं?
bahut kashish hai in panktiyon mein,behad khubsurat
पहले तो मै आपका तहे दिल से शुक्रियादा करना चाहती हू कि आपको मेरा ब्लोग पसन्द आया ! मै तरह तरह के खाने बनाने की शौकिन रखती हू ! ये दाल कबाब खास बन्गाली खाना है और मै उम्मीद करती हू कि आप जब इसे खायेगे तब आप को बेहद पसन्द आयेगा और इसका लुत्फ़ ज़रूर उठायेगे !
जवाब देंहटाएंमुझे आपका ब्लोग बहुत अच्छा लगा ! आप बहुत ही सुन्दर लिखते है !
वाह भाई!! बहुत सुन्दर अहसास!!
जवाब देंहटाएंreally its a different dream...
जवाब देंहटाएंnice to see you...... dream a day for you......
जवाब देंहटाएंSunder!
जवाब देंहटाएंMubarak Ho. Aaj aap yahan bhi maujood hain
जवाब देंहटाएंhttp://mishraarvind.blogspot.com/
बसाकर मैंने नयनों में
जवाब देंहटाएंतुमने अपनी मनमोहनी मूरत ??
bahut hi sundar. kbhi hamare blog par bhi dastak de.
जवाब देंहटाएंबहुत सुंदर भाव..शुभकामनाएं.
जवाब देंहटाएंरामराम.
बहुत सुंदर रचना है। एक अजीब सी कशिश है, सुंदर अहसास हैं आपकी इस कविता में।
जवाब देंहटाएंबधाई।
महावीर शर्मा
ाप्के ये एह्सास बने रहें तभी तो हमे ऐसी सुन्दर्रचनायें मिलेगी बहुत बहुत बधाई मन को छूती कवित के लिये
जवाब देंहटाएंवाह कितने सुन्दर अल्फाज़ हैं.......बहुत खूब!
जवाब देंहटाएंखूबसूरत एहसास से भरी रचना.....मासूम पल को खूब जिया है आपने इस रचना में.......लाजवाब
जवाब देंहटाएंBahut khoobsoorat ahsaas. Man me pyar bhara ho to saari duniya haseen lagne lagti hai.Puruskaar ke liye badhaai.
जवाब देंहटाएंShandar kavita
जवाब देंहटाएंब्लॉग पर आने का शुक्रिया
जवाब देंहटाएंकई दिनों से आ-जा रहा हूँ आपके ब्लौग पर....कुछ समस्या आ रही थी टिअप्पणी-बक्सा खुलने में
जवाब देंहटाएंमिश्र जी के ब्लौग से आपकी जानकारी मिली....
प्रोफाइल में उलझा रहा कि कौन सा ब्लौग आपका नियमित लेखन लेकर आता है...
फिर स वाले पे आया तो इस अद्भुत रूमानी कविता से परिचय हुआ...
सुंदर!!!!
namaskar ..
जवाब देंहटाएंwaah kya khoob likha hai aapne .. aapki kavita to hamen kisi roomani si duniya me le jaati hai bhai..
aapko dil se badhai deta hon.
meri nayi kavita " tera chale jaana " aapke pyaar aur aashirwad bhare comment ki raah dekh rahi hai .. aapse nivedan hai ki padhkar mera hausala badhayen..
http://poemsofvijay.blogspot.com/2009/05/blog-post_18.html
aapka
vijay
इन अहेसासों के ज़रीए बहोत कुछ कहा गया है। मुबारक आपको इस अहेसास के लिये।
जवाब देंहटाएंमेरी नई पोस्ट पढने के लिये पधारें मेरे एक और ब्लोग
http://razia786.wordpress.com
पर्
i em fottunate to have a follower like u ....thanx a lot for being kumaunee cheli s follower....
जवाब देंहटाएंNice Blog.. thanks for comment..
जवाब देंहटाएंGBU
hi its very nice blog sa defenza sotziali sardinia
जवाब देंहटाएंvaturu :)
wow.. amazing layout blog, thanx for comment..
जवाब देंहटाएंhow can i translate your posting in english?
क्या बात है आप बहुत अच्छी कविता कहते है
जवाब देंहटाएंरजनीश जी,
जवाब देंहटाएंजो गुनाह आपने किया उसके लिए माफी नहीं मिल सकती हाँ शुक्रिया जरूर कह सकता हूँ और दिल से ख्वाहिश है की ये गुनाह करते रहिये आप विज्ञान कथा लिखते रहिये
आपकी पुस्तक मैंने पुस्तकालय से ला कर पढी है और इसके लिए मुझे प्रेरित किया अरविन्द जी ने,
अभी हाल ही में इलाहाबाद में ब्लोगिंग कार्यशाला का आयोजन किया गया था जिसमे मैं भी सम्मिलित हुआ था
यही पर अरविन्द जी ने विज्ञान कथा के विषय में भी कहा था
वीनस केसरी
कविता अच्छी है लेकिन रूमानी लिखने की क्या ज़रूरत थी..बहरहाल जीवन यदु की एक पंक्ति याद आ रही है.."पहले गीत लिखूंगा रोटी पर ,फिर लिक्खूंगा तेरी चोटी पर..
जवाब देंहटाएंzakir bhai apna mobile no mail karein
जवाब देंहटाएंkavideepakgupta@gmail.com
in one word " Behtareen"
जवाब देंहटाएंजाकिर साहब,
जवाब देंहटाएंअंदाज पसंद आया, पूरी कहने के बाद प्रश्न को जगह दी।
बहुत ही रोचक।
सादर,
मुकेश कुमार तिवारी
भला प्रेम में प्रश्न क्यों होगा ही एहसास।
जवाब देंहटाएंप्रेमपूर्ण बातें लिखी भाव लगे कुछ खास।।
सादर
श्यामल सुमन
09955373288
www.manoramsuman.blogspot.com
shyamalsuman@gmail.com
वो बच्चन जी की याद आ गयी..दिन में होली रात दिवाली रोज़ मनाती मधुशाला और जब कोई खूबसूरत चेहरा सामने हो तो फिर मधुशाला भी भूल जाती...इस सुंदर कविता के लिए बधाई...हम भी दुया करते हैं और आप भी करना कि ये इनायत बनी रहे और अच्छी अच्छी कविताएँ आप लिखते रहे....
जवाब देंहटाएंAapki Kavita Apni Ek Mitr Ko Mail Ki (Aapke Naam Sahit)...Khoobsoorat Ehsaas Se Bhar Uttha Dil...
जवाब देंहटाएंaapko bhi nav varsh mangalmaya ho ,bahut si shubhkamnao ke saath
जवाब देंहटाएंये तो मेरे दिल की है
तुम भी कुछ अपनी कहो
मेरी इन भावनाओं को
तुम्हें एहसास भी है या नहीं
aur sundar panktiyon ke saath
kavita achchi hai . Parantu shabdon me kuchh ehsason ki kanmi lag rahi hai.
जवाब देंहटाएंKavita padh kar achchha laga . Chitr achchha hai.
तुम भी कुछ अपनी कहो
मेरी इन भावनाओं को
तुम्हें एहसास भी है या नहीं
ye laine sach me eksason ko jinda karti hai. Jab tak pratiuttar na mile kuchh khali pan sa rahta hai. eisa hi kuchh khalipan sa lag raha hai kabita padh kar.
apne jajbaaton ko vyakt karti hui sunder kavita.
जवाब देंहटाएंप्रेम के महीन अहसास को व्यक्त करती
जवाब देंहटाएंसुंदर रचना
आग्रह है मेरे ब्लॉग में भी सम्मलित हों
jyoti-khare.blogspot.in
कहाँ खड़ा है आज का मजदूर------?